सुप्रीम कोर्ट में CJI गवई पर हमले की कोशिश वकील ने जूता निकाल कर फेंकने की कोशिश की, CJI ने कहा- इन सब चीजों से मुझे फ़र्क नहीं पड़ता…

सुप्रीम कोर्ट में CJI गवई पर हमले की कोशिश वकील ने जूता निकाल कर फेंकने की कोशिश की, CJI ने कहा- इन सब चीजों से मुझे फ़र्क नहीं पड़ता…

 

 

BR Gavai Controversy: मध्य प्रदेश के खजुराहो मंदिर परिसर में भगवान विष्णु की मूर्ति के पुनर्निर्माण और पुनः स्थापित करने की मांग को लेकर दायर याचिका को खारिज करते हुए CJI ने टिप्पणी की थी.

सुप्रीम कोर्ट में सोमवार (6 अक्टूबर) को एक वकील ने भारत के मुख्य न्यायाधीश (CJI) बीआर गवई की ओर जूता फेंकने की कोशिश की. आरोपी वकील राकेश किशोर ने पुलिस को बताया कि वह हाल ही में खजुराहो मंदिरों से जुड़ी CJI की टिप्पणी से नाराज थे. यह घटना कोर्ट में उस वक्त हुई जब कार्यवाही चल रही थी.

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि राकेश किशोर एक कागज भी लेकर आए थे, जिस पर लिखा था -‘सनातन धर्म का अपमान, नहीं सहेगा हिंदुस्तान.’ घटना के बाद उन्हें तुरंत हिरासत में लेकर पूछताछ की गई. पुलिस ने करीब तीन घंटे तक उनसे पूछताछ की.

नहीं दर्ज किया गया कोई मामला, जूता और दस्तावेज लौटाए गए
हालांकि, सुप्रीम कोर्ट प्रशासन ने उनके खिलाफ कोई औपचारिक शिकायत दर्ज नहीं कराई. इस कारण पुलिस ने कोई कानूनी कार्रवाई नहीं की और वकील को रिहा कर दिया गया. उनका जूता और कागजात भी वापस कर दिए गए. अधिकारियों के अनुसार, आरोपी वकील की उम्र लगभग 70 वर्ष है और उनके पास कई बार एसोसिएशन कार्ड हैं.

खजुराहो मंदिर पर टिप्पणी से भड़के थे वकील
राकेश किशोर जिस टिप्पणी से नाराज थे, वह 16 सितंबर को एक मामले की सुनवाई के दौरान CJI गवई ने की थी. मध्य प्रदेश के खजुराहो मंदिर परिसर में भगवान विष्णु की मूर्ति के पुनर्निर्माण और पुनः स्थापित करने की मांग को लेकर दायर याचिका को खारिज करते हुए उन्होंने कहा था – ‘आप कहते हैं कि आप भगवान विष्णु के बड़े भक्त हैं. आप उन्हीं से प्रार्थना कीजिए कि वह कुछ करें.’ उन्होंने यह भी कहा था कि यह स्थल पुरातत्व विभाग (ASI) के संरक्षण में है, इसलिए बहाली से पहले विभाग की अनुमति जरूरी है.

सोशल मीडिया पर मचा बवाल, CJI ने दी सफाई
CJI गवई की इस टिप्पणी पर सोशल मीडिया पर बड़ा विवाद हुआ. इसके बाद उन्होंने खुली अदालत में सफाई देते हुए कहा कि उनका किसी धर्म का अपमान करने का इरादा नहीं था. उन्होंने कहा- ‘मैं सभी धर्मों का सम्मान करता हूं… यह विवाद सोशल मीडिया पर पैदा हुआ है.’

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